विदेश post authorAdmin 27-Jan-2020 (0)

भारत में भी कोरोना वायरस की दस्तक ! , जानें क्या है और कैसे फैल रहा ये संक्रमण...

post

चीन के कोरोना वायरस ने भारत में भी दस्तक दे दी है । भारत में  कुछ इस वायरस के कुछ संदिग्ध मामले सामने आए हैं। जिसके बाद यहां भी हड़कंप मच गया है । महाराष्ट्र के बाद रविवार को जयपुर में कोरोनावायरस का एक संदिग्ध मामला सामने आया है। वहीं रिपोर्ट्स के अनुसार बिहार में भी एक लड़की के इसकी चपेट में होने की आशंका है। 

मरीजों से लिए गए इस वायरस के सैंपल की जांच प्रयोगशाला में की गई है। इसके बाद चीन के अधिकारियों और विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा कि यह एक कोरोना वायरस है।

कोरोना वायरस की फैमिली लंबी चौड़ी है लेकिन इसमें छह वायरस ऐसे हैं जो काफी खतरनाक हैं. निमोनिया भी इसी से फैलता है. लेकिन जो वायरस चीन से पैदा हुआ और अब पूरी दुनिया को चपेट में ले रहा है उसे वैज्ञानिकों ने न्यू कोरोना वायरस या नोवेल कोरोना वायरस नाम दिया है. इसके नमूनों की सबसे पहले पहचान जर्मनी की एक अंतरराष्ट्रीय लैब ने की. इसी वायरस की फैमिली घातक सार्स बीमारी फैलाने की भी जिम्मेदार ठहराई जा चुकी है.

नए वायरस के जेनेटिक कोड के विश्लेषण से ये पता चलता है कि ये मानवों को संक्रमित करने की क्षमता रखने वाले दूसरे कोरोना वायरस की तुलना में 'सार्स' के अधिक निकटवर्ती है। सार्स नाम के कोरोना वायरस को काफी खतरनाक माना जाता है। सार्स के कारण चीन में साल 2002 में 8,098 लोग संक्रमित हुए थे और उनमें से 774 लोगों की मौत हो गई थी।  

ये है कोरोना वायरस के लक्षण

इस बीमारी के शिकार लोगों में शुरुआत में सिरदर्द, नाक बहना, खांसी, गले में ख़राश, बुखार, अस्वस्थता का अहसास होना, छींक आना, अस्थमा का बिगड़ना, थकान महसूस करना आदि होता है. बाद में ये निमोनिया की तरह लगने लगती है. मूलतौर पर ये फेफड़ों पर हमला करती है और इसे नुकसान पहुंचाती है. जिसके बाद बचना मुश्किल हो जाता है.

कहां से आया नया कोरोना वायरस?

यह बिल्कुल नई किस्म का वायरस है। ये एक जीवों की एक प्रजाति से दूसरे प्रजाति में जाते हैं और फिर इंसानों को संक्रमित कर लेते हैं। इस दौरान इनका बिल्कुल पता नहीं चलता।

नॉटिंगम यूनिवर्सिटी के एक वायरोलॉजिस्ट प्रोफेसर जोनाथन बॉल के मुताबिक यह बिल्कुल ही नई तरह का कोरोना वायरस है। बहुत हद तक संभव है कि पशुओं से ही इंसानों तक पहुंचा हो।

एक रिपोर्ट के मुताबिक सांप इस वायरस की उत्पत्ति का मुख्य स्रोत हो सकते हैं. मुख्य रूप से Chinese krait और Chinese cobra सांपों से इसकी उत्पत्ति मानी जा रही है. ये दोनों बेहद विषैले सांप हैं. इस रिसर्च को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है और कयास लगाए जा रहे हैं कि इससे इलाज तलाशने में आसानी होगी.

चीन के अधिकारियों का कहना है कि ऐसे बहुत से मामले सामने आए हैं जिससे ये पुष्टि होती है कि यह वायरस एक शख्स से दूसरे को भी होता है। अधिकारियों का कहना है कि ऐसा कहने के पीछे वजह ये है कि कई ऐसे मामले सामने आए हैं जिसमें मरीजों की देखभाल करने वाले स्वास्थ्यकर्मियों में भी संक्रमण के लक्षण नजर आ रहे हैं।

इस मौजूदा वायरस को लेकर यही सबसे बड़ा डर है कि इससे सबसे पहले फेफड़े ही प्रभावित हो रहे हैं। इस वायरस का संक्रमण होते ही संक्रमित शख्स को खांसी और जले की शिकायत हो जाती है।

ये भी पढ़ें

Leave a Comment